सियासत और स्टेडियम: प्रियंका भारती का ट्वीट क्यों हो रहा है वायरल?
तीसरा पक्ष ब्यूरो नई दिल्ली, 21 अगस्त 2025—राष्ट्रीय जनता दल (RJD) की राष्ट्रीय प्रवक्ता और सोशल मीडिया पर सक्रिय नेता प्रियंका भारती ने एक बार फिर बीजेपी नेतृत्व को कटघरे में खड़ा किया है. हाल ही में संसद में गृह मंत्री अमित शाह द्वारा नैतिकता और लोकतांत्रिक मूल्यों पर दिए गए बयान पर तंज कसते हुए प्रियंका ने एक तीखा ट्वीट किया, जो अब सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बन चुका है.

ट्वीट में क्या कहा गया?
प्रियंका भारती ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा कि,
आज रात अमित शाह जी और जय शाह के बीच कुछ ऐसी बातचीत हो सकती हैं!
‘हैलो बेटा जय, आज मैने संसद में नैतिकता पर भाषण दिया (ठहाका के साथ) और अब तुम India -Pakistan मैच कराकर नैतिकता और देशभक्ति का परिचय देना!
इस व्यंग्यात्मक ट्वीट में उन्होंने स्पष्ट रूप से यह इशारा किया कि एक ओर संसद में नैतिकता की दुहाई दिया जा रहा है.तो दूसरी ओर क्रिकेट मैच जैसे इवेंट्स के जरिए राष्ट्रवाद का प्रदर्शन किया जा रहा है – और यह सब ‘इमेज बिल्डिंग’ का हिस्सा है.
राजनीतिक संदेश क्या है?
प्रियंका भारती ने यह सवाल उठाया है कि जब लोकतंत्र को कथित रूप से कमजोर कर, वोट की चोरी से सरकार बनी हो तो उस सत्ता से जुड़े लोग नैतिकता पर भाषण देने की स्थिति में कैसे हो सकते हैं? उनका यह कटाक्ष सीधे-सीधे प्रधानमंत्री और गृह मंत्री पर निशाना है.
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इस ट्वीट में जय शाह (बीसीसीआई सचिव और गृह मंत्री अमित शाह के बेटे) का ज़िक्र करते हुए उन्होंने क्रिकेट को राजनीतिक हथियार के रूप में इस्तेमाल किए जाने की बात को उजागर किया.
सोशल मीडिया पर गर्मा-गर्म बहस
इस बयान के बाद एक्स पर राजनीतिक समर्थकों के बीच तीखी बहस छिड़ गई है.
कुछ यूज़र्स ने इसे सटीक राजनीतिक व्यंग्य बताया
तो कई बीजेपी समर्थकों ने इसे ,गैर-जिम्मेदाराना और असम्मानजनक कहा है .
हालांकि, प्रियंका भारती के ट्वीट की भाषा व्यंग्यात्मक थी. लेकिन उसके पीछे का राजनीतिक संदेश बेहद गंभीर है — लोकतंत्र, नैतिकता और देशभक्ति जैसे शब्दों का कथित ‘राजनीतिक उपयोग.
विश्लेषण: क्या है इसके पीछे की रणनीति?
2025 के चुनावी माहौल में विपक्ष पूरी तरह से आक्रामक मुद्रा में है. प्रियंका भारती जैसे नेताओं के ट्वीट न केवल पार्टी की रणनीति को सामने रखते हैं. बल्कि सोशल मीडिया के ज़रिए जनता के बीच वैकल्पिक नैरेटिव भी खड़ा करते हैं.
उनका यह ट्वीट बताता है कि विपक्ष अब न केवल संसद में, बल्कि डिजिटल स्पेस में भी सरकार की कथनी और करनी पर सवाल उठाने के लिए तैयार है.
निष्कर्ष
राजनीति में सोशल मीडिया अब केवल संवाद का माध्यम नहीं बल्कि जनमत को प्रभावित करने का बड़ा हथियार बन चुका है. प्रियंका भारती का ट्वीट इसी रणनीति का हिस्सा लगता है. जिसमें व्यंग्य के माध्यम से गंभीर प्रश्न उठाये गये हैं – क्या नैतिकता भाषणों से साबित होती है या आचरण से? और क्या क्रिकेट मैच देशभक्ति का प्रमाण बन सकते हैं?
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