चुनावी चक्रव्यूह: कौन तोड़ेगा बिहार का तिलिस्म?

बिहार का सियासी रण, बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में कौन मारेगा बाजी? तीसरा पक्ष डेस्क :बिहार का सियासी रण: 2025 में कौन मारेगा बाजी? बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में NDA, महागठबंधन और जन सुराज के बीच कांटे की टक्कर. जातिगत ...

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बिहार के युवा सड़कों पर: नीतीश सरकार की कुर्सी खतरे में?

तीसरा पक्ष डेस्क : बिहार भारत का एक ऐसा राज्य है जो अपने ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत के लिए प्रसिद्ध है लेकिन आज एक बार फिर सुर्खियों में है. इस बार वजह न तो कोई सांस्कृतिक उत्सव है और न ...

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Caste Census : जातिवाद का बदलता चेहरा, आधुनिक भारत में चुनौतियाँ

गांव, कॉरपोरेट से लेकर डिजिटल दुनियाँ तक फैले जातिवाद से निपटने के संभावित तरीके क्या है ? तीसरा पक्ष डेस्क : अब जबकि भारत सरकार ने सामाजिक न्याय और नीति निर्माण के नाम पर पुरे देश में जाति जनगणना कराने ...

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मोदी सरकार ने जाति जनगणना का फैसला अचानक क्यो लिया ?

नीतीश का दबाव, राहुल, तेजस्वी, अखिलेश का उभार या भाजपा का हिन्दू राष्ट्रवाद से मंडल की तरफ पलायन ! तीसरा पक्ष डेस्क: पहलगाम आतंकी हमले के बाद जब पुरा देश इस बात पर चर्चा कर रहा था कि अब मोदी ...

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जातिवाद के जंजीरे: बिहार के सियासत में कितना बदलाव?

“लालू युग की MY समीकरण और सामाजिक क्रांति से नीतीश कुमार और लव-कुश समीकरण” तक बिहार की राजनीति कितनी बदली है ? तीसरा पक्ष डेक्स : बिहार के राजनीति, सामाजिक संरचना और आर्थिक गतिशीलता में जाति का इतना गहरा प्रभाव ...

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पहचान की सियासत, विचारों का जोर: बिहार 2025 का रण

तीसरा पक्ष ब्यूरो : बिहार के सियासी जमीन पर 2025 के विधानसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है. इस बार का रण केवल सत्ता के कुर्सी का खेल नहीं, बल्कि पहचान की सियासत और विचारों की जंग का अनूठा संगम ...

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फिल्म समीक्षा: फूले (Phule, 2025) ,हंगामा क्यों है बरपा !

फिल्म का मशहूर डायलॉग-अंग्रेजों की गुलामी तो सिर्फ सौ साल पुरानी है, मैं जिस गुलामी से लोगों को स्वतंत्र करना चाहता हूँ वो तीन हज़ार साल पुरानी है. कहानी का सार: “फूले” एक बायोपिक फिल्म है जो 19वीं सदी के ...

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जनता का दिल, सत्ता का खेल: बिहार 2025 में कौन चुराएगा CM का ताज?

तीसरा पक्ष ब्यूरो : बिहार में विधानसभा चुनाव 2025 की सरगर्मी अपने चरम पर है, लेकिन सवाल वही पुराना है,पर उत्साह नया है कि बिहार का अगला मुख्यमंत्री कौन होगा? नीतीश कुमार का अनुभव, तेजस्वी यादव का जोश, या फिर ...

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आंबेडकर जयंती 2025: बाबासाहेब की विरासत और प्रेरणा

आंबेडकर जयंती केवल एक उत्सव नहीं, बल्कि सामाजिक परिवर्तन का प्रतीक है ? तीसरा पक्ष डेस्क :हर साल 14 अप्रैल को भारत में ही नहीं बल्कि देश से बहार भी आंबेडकर जयंती बड़े उत्साह के साथ मनाई जाती है। यह ...

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भूमि अधिकार रैली : बिहार में समतामूलक संग्राम दल ने दिखाई ताकत

बिहार की राजनीति में एनडीए, इंडिया गठबंधन और प्रशांत किशोर के बीच मनोज भारती ने अपनी दावेदारी ठोक दी है ? तीसरा पक्ष ब्यूरो, पटना : बिहार की राजधानी पटना में जन सूरज की बिहार बदलाव रैली सम्पन्नय हो गई ...

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